क्यों कोई चाह कर भी मोहब्बत निभा नहीं पाता
क्यों कोई चाह कर भी मोहब्बत निभा नहीं पाता !
क्यों कोई चाह कर भी रिश्ता बना नहीं पाता !!
क्यों लेती हैं जिंदगी ऐसी करवट...
कोई चाह कर भी प्यार जता नहीं पाता !!
क्यों कोई चाह कर भी रिश्ता बना नहीं पाता !!
क्यों लेती हैं जिंदगी ऐसी करवट...
कोई चाह कर भी प्यार जता नहीं पाता !!
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें